जिला प्रशासन ने की अवैध खनन के खिलाफ बड़ी कार्रवाई

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हरिद्वार, 19 जून 2025: जिलाधिकारी मयूर दीक्षित के निर्देश पर अवैध खनन के खिलाफ चल रही कार्रवाई के तहत, जिला खनन अधिकारी मो. काजिम ने बताया कि भगवानपुर तहसील के बंजारेवाला ग्रन्ट स्थित मैसर्स बद्री केदार स्टोन क्रेशर ने अपने परिसर के अंदर अवैध रूप से खुदाई कर 10,080 टन आर.बी.एम. (रिवर बेड मटेरियल) निकाला है। इस अनियमितता के लिए, नियमावली के प्रावधानों के अनुसार पहली बार में रॉयल्टी का तीन गुना, यानी 21,16,800/- रुपये का जुर्माना लगाने की सिफारिश की गई है। क्रेशर को मौके पर सीज कर दिया गया है और उसका ई-रवन्ना पोर्टल अस्थायी रूप से निलंबित कर दिया गया है।
यह कार्रवाई 17.06.2025 को मिली मौखिक शिकायत के बाद की गई, जिसके तहत जिलाधिकारी के आदेश पर विभागीय टीम ने क्रेशर का औचक निरीक्षण किया। मौके पर क्रेशर मुंशी की मौजूदगी में अवैध रूप से खोदे गए गड्ढे की पैमाइश की गई, जिसकी माप 50 मीटर x 35 मीटर x 2 मीटर यानी 3500 घन मीटर (स्वैल फैक्टर और बल्क डेन्सिटी के अनुसार 10,080 टन) पाई गई। क्रेशर मुंशी 10,080 टन आर.बी.एम. निकाले जाने के संबंध में संतोषजनक जवाब नहीं दे पाए।
उत्तराखंड खनिज (अवैध खनन, परिवहन एवं भण्डारण का निवारण) (चतुर्थ संशोधन) नियमावली, 2024 के नियम 14 (5) (क) के अनुसार, यदि भण्डारण में कोई अवैधता/अनियमितता पाई जाती है, तो महानिदेशक/निदेशक या उनके प्राधिकृत अधिकारी, जिलाधिकारी या उनके प्राधिकृत अधिकारी (जो उप जिलाधिकारी से कम न हों), भण्डारण स्थल को सीज कर देंगे या ई-रवन्ना पोर्टल बंद कर देंगे। अनुज्ञाधारक को 15 दिन के भीतर अपना पक्ष प्रस्तुत करने के लिए नोटिस दिया जाएगा। यदि नियत समय के भीतर कोई स्पष्टीकरण प्राप्त नहीं होता है, या प्रस्तुत स्पष्टीकरण/साक्ष्य संतोषजनक नहीं पाया जाता है, तो अवैध खनिज की मात्रा पर पहली बार में रॉयल्टी का तीन गुना और उसके बाद रॉयल्टी का चार गुना जुर्माना लगाया जाएगा। यदि किसी व्यक्ति/संस्था/फर्म/कंपनी आदि के नाम से एक से अधिक अनुज्ञा स्वीकृत हैं और एक अनुज्ञा स्थल पर जुर्माना लगाया गया है (या इस नियमावली के प्रख्यापन से पहले लगाया गया है), तो दूसरे अनुज्ञा स्थल पर रॉयल्टी के चार गुना के बराबर राशि का जुर्माना लगाया जाएगा। संबंधित भण्डारणकर्ता द्वारा जुर्माना राशि जमा करने पर, जिला खान अधिकारी की संस्तुति पर निदेशक द्वारा खनिज की निकासी की अनुमति दी जाएगी। यदि भण्डारण की जांच/पैमाइश के बाद भण्डारित उपखनिज की मात्रा प्रस्तुत अभिलेखों और वास्तविक पैमाइश के अनुसार कम पाई जाती है, तो संबंधित के खिलाफ उपर्युक्त अनुसार जुर्माना लगाया जाएगा और कम पाई गई उपखनिज की मात्रा को संबंधित के ‘कैपेसिटी इन हैंड’ में अंकित उपखनिज की मात्रा से कम कर दिया जाएगा।