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वीआईपी घाट पर होगा तिरंगा यात्रा का समापन

हरिद्वार। राष्ट्रवादी सामाजिक संगठन सेल्यूट तिरंगा द्वारा एक अगस्त से कश्मीर से कन्या कुमारी तक आयोजित की गयी तिरंगा यात्रा का रविवार को वीआईपी घाट पर समापन किया जाएगा। प्रैस क्लब में आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान सेल्यूट तिरंगा के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजेश झा एवं राष्ट्रीय संगठन महामंत्री सच्चिदानंद पोखरियाल ने बताया कि जम्मू कश्मीर की राजधानी श्रीनगर की डल झील में तिरंगा शिकारा प्रतियोगिता का आयोजन मुख्य आकर्षण का केंद्र रहा। जिसकी प्रशंसा संसद भवन में पांच अगस्त को गृह मंत्री अमित शाह ने भी की। सेल्यूट तिरंगा द्वारा देश के 28प्रांतों में राष्ट्रवाद के जन-जागरण के लिए निकाली गयी। उन्होंनें बताया कि तिरंगा यात्रा समापन आध्यात्मिक राजधानी वीआईपी घाट पर देश भर से आए सेल्यूट तिरंगा संगठन के लोगों द्वारा हाथ में तिरंगा लेकर गंगा आरती के साथ यात्रा का समापन किया जाएगा। संरक्षक महामंडलेश्वर स्वामी ललितानंद गिरी व राष्ट्रीय महामंत्री गिरीश पाठक ने कहा कि तिरंगा यात्रा भारत का गौरव है। राष्ट्रवाद की जनचेतना सेल्यूट तिरंगा द्वारा की जा रही है। युवा पीढ़ी को देश के प्रति समर्पित रहना चाहिए। उन्होंने कहा कि देश भर में तिरंगा यात्रा को भारी समर्थन मिला। जनसेवा के माध्यम से लोगों में जनचेतना जागृत करने में संगठन की निर्णायक भूमिका है। इस दौरान कौशल गुप्ता, अभिषेक शर्मा, सुनीता शर्मा, निकिता पालीवाल आदि भी मौजूद रहे।

भगवान का आशीर्वाद पाना है, तो पात्रता विकसित करे- डॉ शर्मा
हरिद्वार। गायत्री तीर्थ शांतिकुंज में उत्तर एवं पश्चिमोत्तर जोन के सक्रिय समर्थ कार्यकर्ताओं का पांच दिवसीय विशेष प्रशिक्षण सत्र का शुभारंभ हुआ। इस अवसर पर शांतिकुंज के वरिष्ठ कार्यकर्ताओं ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलन कर युगऋषि पूज्य पं.श्रीराम शर्मा आचार्य एवं माता भगवती देवी शर्मा जी के चित्रों पर पुष्प अर्पण किया। उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए केन्द्रीय जोन समन्वयक डॉ ओपी शर्मा ने कहा कि उदार, सेवा, प्रेम, सहानुभूति आदि जैसे सद्गुणों के समुच्चय का नाम भगवान है और उनका आशीर्वाद, संरक्षण, मार्गदर्शन पाना चाहते हैं,तो सबसे पहले अपनी पात्रता को विकसित करें। भगवान अपने साथ साझेदारी एवं उनके कार्य करने वाले को निरंतर संरक्षण प्रदान करते हैं। उन्होंने कहा कि एक घर में रहने वाले एक अर्जुन बन जाता है, तो दूसरा दुर्योधन। अंतर मात्र पात्रता, विश्वास और विचार का है। केन्द्रीय जोन समन्वयक ने कहा कि सन् २०२६ परम वन्दनीया माताजी का जन्मशताब्दी वर्ष है। जन्मशताब्दी वर्ष तक समाज को विकसित व समुन्नत बनाने के लिए हम सभी को धैर्य के साथ संकल्पित होकर कार्य करना है।इस अवसर पर परम वंदनीया माताजी का विशेष वीडियो संदेश दिखाया गया, जिसमें माताजी ने आत्मीयता के साथ संगठित होकर कार्य करने के लिए मार्गदर्शन किया। कार्यक्रम विभाग समन्वयक श्यामबिहारी दुबे ने क्षेत्रीय कार्यक्रमों के स्वरूप एवं रूपरेखा पर विस्तार से जानकारी दी। शिविर समन्वयक ने बताया कि पांच दिन चलने वाले इस प्रशिक्षण शिविर में कुल बारह सत्र होंगे। इस दौरान प्रतिभागियों को अखिल विश्व गायत्री प्रमुख डॉ.प्रणव पण्ड्या,संस्था की अधिष्ठात्री श्रद्धेया शैलदीदी का भी मार्गदर्शन मिलेगा, तो वहीं प्रतिभागियों को जन्मशताब्दी वर्ष २०२६ तक की कार्य योजना पर विस्तृत जानकारी दी जायेगी। उद्घाटन सत्र के अवसर पर प्रो.विश्वप्रकाश त्रिपाठी, केदार प्रसाद दुबे, श्याम बिहारी दुबे, प्रो.प्रमोद भटनागर,सुखदेव शर्मा,नरेन्द्र ठाकुर आदि सहित उत्तर प्रदेश, हिमाचल, हरियाणा, पंजाब और उत्तराखण्ड के गायत्री परिवार के चयनित सक्रिय कार्यकर्त्ता भाई बहिन उपस्थित रहे।

राष्ट्र के मूल विकास के लिए लोगों का स्वस्थ और शिक्षित होना आवश्यक

हरिद्वार। भारत सरकार के आयुष मंत्रालय द्वारा पतंजलि आयुर्वेद हॉस्पिटल के अंतर्गत पतंजलि अनुसंधान और पतंजलि विश्वविद्यालय के सहयोग से एकदिवसीय कार्यशाला का आयोजन पतंजलि अनुसंधान संस्थान के सभागार में किया गया जिसमें स्टेट इंस्टीट्यूट ऑफ एग्रीकल्चर एक्सटेंशन एण्ड ट्रेनिंग (एसआईएइटी) के साथ दिव्य योग मंदिर (ट्रस्ट) के मध्य अनुसंधान कार्य करने संबंधित अनुबंध ‘मोमोरेंडम ऑफ अण्डरटेकिंग’ पर भी हस्ताक्षर किए गए। कार्यशाला का उद्घाटन पतंजलि योगपीठ के महामंत्री आचार्य बालकृष्ण, राज्य कृषि विस्तार एवं प्रशिक्षण केंद्र बारखेडी कलाँ भोपाल के निदेशक कोमल प्रसाद अहरवाल तथा पतंजलि रिसर्च फाउंडेशन ट्रस्ट के वैज्ञानिक सलाहकार डॉक्टर राजेश सक्सेना ने दीप प्रज्जवलन करके किया गया। इस अवसर पर आचार्य बालकृष्ण ने कहा कि भारत आयुर्वेद की भूमि है। सदियों से इसने वैदिक बुद्धिमत्ता को संरक्षित करके रखा है। पतंजलि रिसर्च फाउंडेशन इस प्राचीन ज्ञान को आधुनिक विज्ञान के साथ जोड़ने का कार्य कर रहा है। पतंजलि अनुसंधान संस्थान के वैज्ञानिकों ने आयुर्वेद को विश्व स्तर पर स्थापित करने के लिए साक्ष्य आधारित चिकित्सा प्रणाली विकसित की जो पूर्ण प्रामाणिकता के साथ आयुर्वेद को शिखर तक ले जा रही है। उन्होंने कहा कि आज देश के प्रधानमंत्री आत्मनिर्भर भारत की बात करते हैं। उसमें भी पतंजलि संस्थान की प्रमुख भूमिका रही है। पारंपरिक ज्ञान के संरक्षण और प्रचार-प्रसार के पतंजलि के प्रयासों सेे लाखों लोगों ने औषधीय पौधों के प्राचीन विज्ञान को स्वीकार किया है। यह आयुर्वेदिक सिद्धांत विश्व चिकित्सा प्रणाली में अद्वितीय है। कार्यशाला में विशिष्ट अतिथि कोमल प्रसाद अहरवाल ने ‘कर्म’ को जीवन का आधार बताते हुए कहा कि हमारे कार्यों से ही हमारे विचार परिलक्षित होते हैं। वेदों और ग्रंथों के माध्यम से कर्म के विषय में जाना जा सकता है। उन्होंने कहा कि जीवन में व्यावहारिक विषयों व नैतिक मूल्यों को स्थापित किए जाने की भी आवश्यकता है। किसी भी राष्ट्र के मूल विकास के लिए लोगों का स्वस्थ और शिक्षित होना आवश्यक है।इस अवसर पर पतंजलि रिसर्च फाउंडेशन, हरिद्वार के वाइस प्रेसीडेंट डॉक्टर अनुराग वार्ष्णेय ने ‘आयुर्वेदिक औषधियों से उपचार विषय’ पर अपने विचार प्रस्तुत करते हुए कहा कि पतंजलि स्वास्थ्य,आध्यात्म, देशभत्तिफ और दीर्घायु का पर्याय बन गया है। पतंजलि रिसर्च फाउंडेशन ट्रस्ट के वैज्ञानिक सलाहकार डॉक्टर राजेश सक्सेना ने कि आज ‘पतंजलि योग ग्राम’ आयुर्वेद प्रतिष्ठान साध्य-असाध्य रोगों के उपचार के लिए एक सफल अनुसंधान केंद्र है। कार्यक्रम में पतंजलि हर्बल रिसर्च डिवीजन की वैज्ञानिक डॉक्टर प्रियंका चौधरी,डॉक्टर विवेक गोहल,पतंजलि आयुर्वेदिक कॉलेज के प्रोफेसर डॉक्टर आशीष भारती गोस्वामी,ड्रग डिस्कवरी एंड डेवलपमेंट डिवीजन के डीजीएम ऑपरेशन्स प्रदीप नैन आदि ने सम्मेलन में अपने शोध साझा किए। इस अवसर पर पतंजलि विश्वविद्यालय की कुलसचिव डॉक्टर प्रवीण पुनिया,पतंजलि आयुर्वेद कॉलेज के प्राचार्य प्रोफेसर अनिल यादव सहित पतंजलि रिसर्च हर्बल डिपार्टमेंट के सभी सहयोगी कर्मचारी, वैज्ञानिक और प्रोफेसर उपस्थित


’’आयुष्मान भव’’ की शुरूआत आज से गांव में आयुष्मान सभा का आयोजन किया जायेगा-जिलाधिकारी

हरिद्वार। जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल ने शनिवार को कलक्ट्रेट में प्रेस वार्ता के दौरान ’’आयुष्मान भव’’कार्यक्रम के सम्बन्ध में विस्तार से जानकारी देते हुये बताया कि भारत सरकार के आयुष्मान भव कार्यक्रम का शुभारंभ 13 सितम्बर से जनपद एवं ब्लॉक स्तर पर आयोजित किया जा चुका है। उन्होंने बताया कि ’’आयुष्मान भव’’ कार्यक्रम के तहत आगामी 17 सितम्बर से 02 अक्टूबर 2023 तक जनपद के सभी हेल्थ एण्ड वेलनेस सेंटर पर सोमवार से शुक्रवार तक ग्राम पंचायतो में आयुषमान सभा का आयोजन किया जायेगा तथा हर बृहस्पतिवार को जनपद के 04 सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों-बहादराबाद,भगवानपुर,लक्सर,नारसन में स्वास्थ्य मेले का आयोजन किया जायेगा एवं जनपद में उपलब्ध सुविधाओं के साथ-साथ एम्स ऋषिकेश से विशेषज्ञ डॉक्टर की टीम भी उपलब्ध होगी। श्री गर्ब्याल ने बताया कि दिनांक 17 सितम्बर को आयुष्मान भवः कार्यक्रम की शुरूआत करते हुए एच.डब्लू.सी. पर स्वास्थ्य मेले का आयोजन किया जायेगा। इसमें निःशुल्क दवाओं एवं जॉच के साथ ओ.पी.डी,टेली कंसल्टेशन,गैर संचारी रोगों की जांच,योगा,वेलनेस सत्र,आभा आई.डी बनाने के साथ ही आयुष्मान कार्ड भी बनाये जायेंगे। उन्होंने आगे जानकारी देते हुये बताया कि हर सप्ताह सोमवार से शुक्रवार तक एच.डब्लू.सी.से आच्छादित गांव में आयुष्मान सभा का आयोजन किया जायेगा, जिसमें आयुष्मान कार्ड वितरण,आभा आई.डी.बनाना,स्वास्थ्य योजनाओं की सेवाऐं एवं जानकारी दी जायेगी। इसके अलावा प्रत्येक शनिवार को एच.डब्ल्यू.सी. पर साप्ताहिक स्वास्थ्य मेले का आयोजन किया जायेगा,इसमें निशुल्क दवाओं एवं जॉच के साथ ओ.पी.डी,टेली कंसल्टेशन,गैर संचारी रोगों की जांच,योगा,वेलनेस सत्र,आभा आई.डी बनाना, आयुष्मान कार्ड बनाना आदि कार्य किये जायेंगे। जिलाधिकारी ने बताया कि प्रत्येक बृहस्पतिवार को आयुष्मान भवः के अन्तर्गत सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रो पर स्वास्थ्य मेले का आयोजन किया जायेगा। इसमें एम्स ऋषिकेश से स्पेशलिस्ट डॉक्टरों की टीम भी उपलब्ध होगी। उन्होंने बताया कि आयुष्मान कार्ड हेतु ब्लॉक बहादराबाद में मो.नं. 7217711950, ब्लॉक लक्सर खानपुर हेतु मो.नं.72717600769, 721760069 पर आयुष्मान कार्ड मैनेजर से सम्पर्क स्थापित किया जा सकता है।

डा.अभिनव गुप्ता के चयन पर वैश्य समाज ने जताया हर्ष

हरिद्वार। श्री वैश्य बंधु समाज मध्य क्षेत्र हरिद्वार के वरिष्ठ सदस्य एवं पूर्व महामंत्री जय भगवान गुप्ता के बेटे डा.अभिनव गुप्ता का चयन एमएस आर्थो में होने पर संस्था के पदाधिकारियों ने डा.अभिनव को बुके देकर व शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया। डा.अभिनव फरीदाबाद स्थित डीएसआई मेडिकल कालेज में अध्ययन करेंगे। अभिनव के पिता जय भगवान गुप्ता समाजसेवा के क्षेत्र में सक्रिय हैं। संस्थापक अध्यक्ष अशोक अग्रवाल ने डा.अभिनव गुप्ता के चयन पर हर्ष जताते हुए कहा कि वैश्य समाज के युवा प्रत्येक क्षेत्र में कामयाबी हासिल कर देश व समाज का नाम रोशन कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि चिकित्सा क्षेत्र में चयन होना गौरव की बात है। चिकित्सक समाज में विशेष स्थान रखता है। डा.अभिनव गुप्ता भी मानव सेवा में अपना योगदान देंगे। महावीर मित्तल व विनीत अग्रवाल ने कहा कि वैश्य समाज की युवा पीढ़ी लगातार प्रत्येक क्षेत्र में समाज का नाम रोशन कर रही है। जनपद में डा.अभिनव गुप्ता का चयन होना गौरव का विषय है। शिक्षा ही जीवन में सफलता दिलाती है। उन्होंने डा.अभिनव गुप्ता के उज्जवल भविष्य की कामना की। हर्ष जताने वालों में जय भगवान गुप्ता, माध्विक मित्तल, डा.अजय आदि शामिल रहे।